दिल्ली के पुराने रेलवे पुल पर यमुना नदी का जलस्तर शनिवार शाम करीब आठ बजे 205.11 मीटर तक पहुंच गया, जो खतरे के निशान 205.33 मीटर से कुछ ही कम है।
अधिकारियों के अनुसार, स्थिति पर करीबी नजर रखी जा रही है और जलस्तर में वृद्धि के पूर्वानुमान को देखते हुए सभी संबंधित एजेंसियों को बाढ़ जैसे हालात से निपटने के लिए एहतियाती कदम उठाने का निर्देश दिया गया है।
केंद्रीय बाढ़ नियंत्रण कक्ष के एक अधिकारी ने कहा, ‘‘जलस्तर में वृद्धि का मुख्य कारण वजीराबाद और हथिनीकुंड बैराज से हर घंटे छोड़े जा रहे पानी की अधिक मात्रा है।’’
बाढ़ नियंत्रण विभाग के अनुसार, हथिनीकुंड बैराज से हर घंटे लगभग 36,000 क्यूसेक पानी और वजीराबाद बैराज से 44,320 क्यूसेक पानी छोड़ा जा रहा है।
पुराना रेलवे पुल यमुना नदी के प्रवाह और बाढ़ के संभावित खतरे पर नजर रखने के लिए एक प्रमुख अवलोकन बिंदु के रूप में काम करता है।
शहर के लिए चेतावनी का स्तर 204.50 मीटर है, जबकि खतरे का निशान 205.33 मीटर है और जलस्तर 206 मीटर पहुंचते ही निचले इलाकों से लोगों की निकासी शुरू कर दी जाती है।
बैराज से छोड़े गए पानी को दिल्ली पहुंचने में आमतौर पर 48 से 50 घंटे लगते हैं।