प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने सोमवार को कहा कि उसने पर्यावरण अपराध से संबंधित धन शोधन की जांच में मालब्रोस इंटरनेशनल प्राइवेट लिमिटेड की 79.93 करोड़ रुपये की अचल संपत्ति, जिसमें जमीन, भवन, संयंत्र और मशीनरी शामिल हैं, जब्त कर ली है। ईडी के जालंधर क्षेत्रीय कार्यालय ने 13 दिसंबर को धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए), 2002 के प्रावधानों के तहत इन संपत्तियों को जब्त किया।
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ईडी ने पंजाब प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड द्वारा मालब्रोस इंटरनेशनल प्राइवेट लिमिटेड के खिलाफ दायर आपराधिक शिकायत के आधार पर जांच शुरू की थी। शिकायत में मालब्रोस इंटरनेशनल प्राइवेट लिमिटेड पर जल (प्रदूषण निवारण एवं नियंत्रण) अधिनियम, 1974 के प्रावधानों का उल्लंघन करते हुए अनुपचारित अपशिष्ट जल को रिवर्स बोरिंग के माध्यम से गहरे जलभंडारों में डालने का आरोप लगाया गया था। ईडी ने कहा कि उसकी जांच से पता चला है कि फिरोजपुर जिले के मंसूरवाल गांव में स्थित औद्योगिक इकाई वाली मालब्रोस इंटरनेशनल प्राइवेट लिमिटेड अपराधिक आय अर्जित करने और उसे प्राप्त करने में शामिल थी। कंपनी लगातार और गुप्त रूप से रिवर्स बोरिंग के माध्यम से अनुपचारित अपशिष्टों को गहरे जलभंडारों में डालकर भूजल को जानबूझकर प्रदूषित कर रही थी और बार-बार अपशिष्ट जल को जमीन, नालियों और पास की एक चीनी मिल में बहा रही थी।
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ईडी ने बयान में कहा कि इसके दैनिक कामकाज में बिना उपचारित अपशिष्टों का लगातार अवैध रूप से भूमि और भूजल में निर्वहन शामिल था, जिससे जल प्रदूषण के रूप में बड़े पैमाने पर अपूरणीय पारिस्थितिक क्षति हुई और परिणामस्वरूप फसलों की हानि, पशुओं की मौत और इसके परिसर के आसपास के गांवों के निवासियों के स्वास्थ्य पर गंभीर प्रभाव जैसे स्वास्थ्य खतरे पैदा हुए।
